Anant Chaturdashi 2023 Worship Auspicious Time: अनंत चतुर्दशी (Anant Chaturdashi) गुरुवार को मनाई जाएगी। इस दिन भगवान विष्णु के अनंत स्वरूप की पूजा होगी। भगवान विष्णु के 12 नाम हैं। इनमें एक अनंत है। अनंत चतुर्दशी के दिन दोपहर में इनकी पूजा करने और व्रत रखने का विधान है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, खुद श्रीकृष्ण के कहने पर पांडवों ने भी यह व्रत किया था। व्रत को करने से Read More
Anant Chaturdashi 2023: अनंत चतुर्दशी पर स्नान के बाद साफ कपड़े पहनकर व्रत का संकल्प लें। फिर भगवान की पूजा करें। सबसे पहले घर की पूर्व दिशा को अच्छे से साफ कर वहां कलश की स्थापना करें। फिर कलश पर कोई थाल या अन्य बर्तन स्थापित करें। उस बर्तन में कुश से बने भगवान अनंत की मूर्ति स्थापित करें।
उसके आगे कुमकुम, केसर या हल्दी से रंगे कच्चे सूत का 14 गांठों वाला धागा रखें। धागे को अनंत भी कहा जाता है। कुश से बने अनंत जी और चौदह गाठों वाले धागे की गंध, पुष्प, धूप-दीप, नैवेद्य आदि से पूजा करें। संभव हो तो भगवान की कथा पढ़ें। पूजा बाद अनंत देव का ध्यान कर उस धागे को बाजू पर बांधें।
पुरुष दाहिने हाथ में बांधे धागे
Anant Chaturdashi 2023: पुरुष दाहिने हाथ और महिलाएं बाएं हाथ में उस चौदह गांठों वाले धागे को बांध लें। दरअसल, अनंत धागे की चौदह गांठे चौदह लोकों की प्रतीक माना गया है। यह धागा भगवान विष्णु को प्रसन्न करने वाला और अनंत फल देने वाला माना जाता है। इसे धारण करने से सभी मुसीबतों से रक्षा होती है।
अनंत चतुर्दशी का शुभ मुहूर्त
Anant Chaturdashi 2023: चतुर्दशी तिथि शुरू: 28 सितंबर की सुबह 6 बजकर 12 मिनट
चतुर्दशी तिथि समापन: 28 सितंबर की शाम 6 बजकर 51 मिनट
अनंत चतुर्दशी तिथि: 28 सितंबर
पर्व का महत्व
Anant Chaturdashi 2023: अनंत चतुर्दशी पर भगवान विष्णु की आराधना करने और उपवास रखने से मनोकामनाएं पूरी होती हैं। घर में सुख-समृद्धि रहती है। धन-धान्य की कमी नहीं होती। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार व्रत को रखने वाले जातकों पर लक्ष्मी-नारायण की अपार कृपा रहती है। अनंत चतुर्दशी के दिन श्री विष्णु सहस्त्रनाम स्तोत्र का पाठ करना फलदायी माना जाता है।