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सिलेबस में संस्कृत नहीं, फिर भी आई सप्लीमेंट्री, दूसरे छात्र को 4 प्रतिशत अंक दिए, राज्य शिक्षा केंद्र का कारनामा

सिलेबस में संस्कृत नहीं, फिर भी आई सप्लीमेंट्री, दूसरे छात्र को 4 प्रतिशत अंक दिए, राज्य शिक्षा केंद्र का कारनामा

खिरकिया। पांचवीं-आठवीं कक्षा के परीक्षा परिणाम में राज्य शिक्षा केंद्र की विसंगतियां सामने आई हैं। पहली बार बोर्ड पैटर्न पर आयोजित 5वीं और 8वीं कक्षा के रिजल्ट में गड़बड़ी मिली है। 5वीं कक्षा के सिलेबस में संस्कृत विषय नहीं है, लेकिन इसके बावजूद एक छात्र प्रथम शर्मा को इस सब्जेक्ट में भी सप्लीमेंट्री आई है।

इस मामले को लेकर प्राइवेट स्कूल संचालक एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष नवीन पांडे ने बताया कि राज्य शिक्षा केंद्र के द्वारा घोषित किए गए पांचवीं और आठवीं के रिजल्ट में कई तरह की विसंगतियां हैं, जिसके चलते छात्र-छात्राओं के करियर पर असर पड़ सकता है। जिन छात्रों ने संस्कृत में और बाकि विषयों में अच्छी मेहनत की थी उन्हें भी पूरक मिली है। अत: छात्रों के हितों को ध्यान में रखते हुए रिजल्ट में आई विसंगतियां दूर की जाएं। उन्होंने परीक्षा के मूल्यांकन पर सवाल निशान खड़े किए है।

गौरतलब है कि जिले में तीनों विकासखंड में 179 प्राइवेट स्कूलों में पांचवीं क्लास में 3,441 विद्यार्थियों में से 3,388 ने परीक्षा दी थी, जिनमें से 2,412 उत्तीर्ण हुए हैं, जबकि 1,029 फेल हुए है। वहीं, आठवी में 150 प्राइवेट स्कूलों में 2,857 विद्यार्थियों ने परीक्षा दी थी, जिनमें 1,751 पास और 1180 फेल हो गए हैं।

इस तरह प्राइवेट स्कूलों का रिजल्ट 62.11 प्रतिशत रहा है, जबकि सरकारी स्कूलों में पांचवीं में 535 स्कूलों में से दर्ज 6,393 विद्यार्थियों में से 5,971 विद्यार्थियों ने परीक्षा दी थी, जिनमें से 5,140 पास हुए हैं। वहीं, आठवी क्लास में जिले के 279 माध्यमिक स्कूलों में 6,235 में से 5,661 विद्यार्थी परीक्षा में शामिल हुए थे, जिनमें से 4,563 उत्तीर्ण और 1,672 अनुत्तीर्ण रहे है।

सिलेबस में संस्कृत नहीं, फिर भी आई सप्लीमेंट्री, दूसरे छात्र को 4 प्रतिशत अंक दिए राज्य शिक्षा केंद्र का कारनामा
सिलेबस में संस्कृत नहीं, फिर भी आई सप्लीमेंट्री, दूसरे छात्र को 4 प्रतिशत अंक दिए राज्य शिक्षा केंद्र का कारनामा

विसंगतियां दूर करने की मांग की

जिलाध्यक्ष पांडे ने बुधवार को जिला परियोजना समन्वयक मुकेश कुमार द्विवेदी को स्कूल शिक्षा मंत्री के नाम ज्ञापन सौंपकर रिजल्ट में आई विसंगतियां दूर करने की मांग की है।

पूरी पारदर्शिता बरती गई है

इस संबंध में डीपीसी द्विवेदी का कहना है कि रिजल्ट को लेकर पूरी पारदर्शिता बरती गई है। शासन के निर्देश पर आॅनलाइन मूल्यांकन किया गया है। उत्तर पुस्तिका जांच के बाद अंकों को आॅनलाइन चढ़ाया गया है। उन्होंने कहा कि हरदा विकासखंड की कॉपियां मूल्यांकन के लिए बैतूल और टिमरनी की खिरकिया और खिरकिया की कॉपियां टिमरनी जांच के लिए भेजी गई थीं। उन्होंने बताया कि यदि कोई छात्र मूल्यांकन से संतुष्ट नहीं है तो वह आवेदन देकर अपनी उत्तर पुस्तिका का अवलोकन कर सकता है।

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