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भाजपा राज में इस शहर में फैल रहा है भ्रष्टाचार-रघुवंशी

बुरहानपुर। गतदिनों पूर्व प्रभारी मंत्री प्रेमसिंह पटेल भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा आयोजित कार्यक्रम में गए थे तो भाजपा कार्यकर्ताओं ने ही भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाते हुए प्रभारी मंत्री का घेराव किया था वही आज प्रेस कॉन्फेंस में (मुदुभाषी) की प्रमुखता से छपी खबर की प्रेस कॉन्फेंस में प्रतिलिपि बांटी गई।

बुरहानपुर के पातोंडा डेम में हुए भ्रष्टाचार के चर्चे

बुरहानपुर के पातोंडा डेम में हुए भ्रष्टाचार से सभी परिचित है, इसके चर्चे आम जन से लेकर मीडिया और सोशल मीडिया में भी आम है,गाँव के लोगो के सामने भ्रष्टाचार हुआ वे कह रहे ,किन्तु एकमात्र पूर्व मंत्री इस भ्रष्टाचार को गुणवत्ता पूर्ण कार्य बता रही है,इसका क्या अर्थ है,दाल में काला है या पूरी दाल ही काली है..?

स्व.अटलजी के नाम पर खुला भ्रष्टाचार

देश के ईमानदार प्रधानमंत्री की छवि में आने वाले भाजपा के युगपुरुष स्व.अटल बिहारी को भी इन भाजपाइयो ने नही छोड़ा उन्हें भी भ्रष्टाचार का एक माध्यम बनाया लिया। कांग्रेस को स्व.अटल जी की समाधि पर निर्माण से कोई आपत्ति नही किन्तु उस निर्माण के नाम पर की जा रही लूट एव भ्रष्टाचार से आपत्ति है।

लगभग 2 करोड़ 50 लाख रुपये जनता के डुबाए

इसके पूर्व स्व.अटल जी के नाम पर जल तरण के नाम पर लगभग 2 करोड़ 50 लाख इस शहर की जनता के बिना पानी के डूबा दिए गए, उस जल तारण में पानी भरने के नाम पर हुए ट्यूबवेल में लाखो रु.की बर्बादी की गई,नतीजा आज भी वह तरणताल एक नुमाइश जैसा बनकर खड़ा है जिससे जनता को कोई लाभ नही हुआ। जब भाजपाइयों का पेट इससे भी नही भरा तो उन्होंने स्व:अटल जी की समाधि स्थल को चारागाह बना लिया और अपने नेताओं कार्यकर्ताओं, ओर ठेकेदारों के फायदे के लिए जनता के लाखों रुपयों की हेराफेरी चालू कर दी।

1 लाख से अधिक के विकास कार्य कराने के लिए ऑनलाइन टेंडर होना आवश्यक है

ज्ञात हो कि एक लाख रु.से अधिक के विकास कार्य कराने के लिए ऑनलाइन टेंडर होना आवश्यक है,ओर अगर ऐसा हुआ तो कोई भी आमजन यह प्राप्त कर सकता है,इसलिए अपने ठेकेदारो को लाभ पहुचाने के लिए इन भाजपाइयो ने नया फंडा निकाला कि एक लाख से कम के ऑफलाइन टेंडर निकाल कर रेवड़ियां आपस मे बाटने का काम शुरू कर दिया है। इसी कड़ी में इन्होंने सबसे पहले स्व.अटल जी की समाधि को भ्रष्टाचार का चारागाह बनाया,एक ही स्थान पर नाम बदल बदल कर लाखो रुपयों के टेंडर जारी कर रुपयों का दुरूपयोग किया जा रहा है,बंदरबांट की जा रही है। कई कार्यादेश में बिना काम किये लाखो रुपया बाले बाले बांटा जा रहा है।

एक ही काम के कई टेंडर निकाल कर उसमें भ्रष्टाचार किया जा रहा है

गौरतलब है कि पूर्व में स्व.अटल जी की समाधि के सौंदर्यीकरण के लिए 2.50 लाख रु.ऑनलाईन टेंडर के माध्यम से खर्च किये जा चुके हैं, इसके बाद नगर में विभिन्न स्थलों जैसे जीजा माता प्रतिमा के पास,रेस्ट हाउस के पास,कमल आइसक्रीम के पास ब्लॉक लगाने के टेंडर (3 लाख रु) निकाल कर उस कार्य को भी समाधि स्थल पर करा लिया गया।

समाधि स्थल पर मुरुम भराव के नाम पर फर्जी बिल लाखों रुपयों में निकाले जा रहे है

निम्न ऑफलाइन टेंडर जो वर्तमान में जारी किए गए है,कैसे एक ही स्थान को नाम बदल-बदल कर लाखों रुपए हड़पने की तैयारी कर रखी है। एक ही कार्य,एक ही स्थान को कई दिशाओं के काम बताकर जनता की आंखों में घुल झोंकने का प्रयास किया जा रहा है ?

एक तरफ नगर निगम आम जनता पर टैक्स का बोझ बड़ा कर ओर अधिक अत्याचार कर रहा है। दूसरी तरफ आमजन आवास योजना की किश्त ना आने से खुले छत के नीचे रहने को मजबूर है,इनसे उनकी किश्ते डाली नही जा रही और बगीचे पर लाखों खर्च करने को रुपया आ रहा है।

निगम टैक्स वापस ले,वसूली में नरमी बरतें

एक तरफ कोरोना काल ने वेसे ही आम आदमी की कमर तोड़ रखी है,सरकार ने कोई मदद तो कभी नही की किन्तु टेक्स के बोझ के नीचे दबाकर मारने का निर्णय जरूर ले लिया है,गत दिनों समेकित कर में 33 प्रतिशत एव संपत्ति कर में 10 प्रतिशत वृध्दि कर सरकार ने अपनी निरंकुशता का परिचय दिया है। साथ ही नगर के दुकानदारों से वसूली ऐसे की जा रही है जैसे वे चोर हो,निगम अपने ऐसे कृत्यों को तत्काल रोके अन्यथा कांग्रेस निगम के खिलाफ आंदोलन करेगी।

बुरहानपुर में मृदुभाषी के लिए गौरव शुक्ला की रिपोर्ट

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