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नगर पालिका के शपथ ग्रहण को 35 दिन गुजरे, वरिष्‍ठों के नाम पर पेंच फंसने से धार का विकास अटका

नगर पालिका के शपथ ग्रहण को 35 दिन गुजरे, वरिष्‍ठों के नाम पर पेंच फंसने से धार का विकास अटका

सात सभापति के लिए 12 से अधिक दावेदार

धार।नगर पालिका चुनाव के साथ परिषद बने एक महीने से अधिक हो गया मगर आज तक नगर पालिका विकास की रफ्तार नहीं पकड़ पा रही है वही परिषद तो भाजपा की बन गई है मगर पीआईसी नहीं बनने से कहीं काम अटके हुए हैं
नगर पालिका धार में भाजपा ने अपनी परिषद बनाकर कामकाज शुरू किए 35 दिन बीत चुके है। लेकिन अब तक पीआईसी यानी प्रेसिडेंट इन काउंसिल का गठन नहीं हो पाया है।

इसकी सबसे बड़ी वजह यह है कि 7 सभापित की नियुक्ति कर पीआईसी का गठन होना है। लेकिन इन सीटों के लिए 12 पार्षदों की तरफ से मजबूत दावेदारी है। इनमें वे नाम शामिल है, जो अध्‍यक्ष की दौड़ में भी वरिष्‍ठता के कारण आगे रहे थे, लेकिन ऐनवक्‍त पर नाम कट गया। नाम कट जाने के कारण अब वे सभापति की कुर्सी पर मजबूत दावेदारी कर रहे है। इस कारण पीआईसी गठन में देरी देखने को मिली है।

अब उम्‍मीद है कि समीकरण बैठाकर इस सप्‍ताह पीआईसी का गठन किया जा सकता है। नगर पालिका धार के लिए नई परिषद का गठन 23 फरवरी को हुआ था। इसके बाद पीआईसी का गठन होना था। ताकि नगर पालिका के निर्माण कार्य और अन्‍य जरूरी कामों को गति मिल सके। पीआईसी कमेटी की सहमति से बड़े-बड़े प्रोजेक्‍ट को पूरा करने के लिए जरूरी प्रशासनिक प्रक्रिया पूरी की जाती है।

लेकिन इस बार की पीआईसी में पार्षदों की दावेदारी अधिक होने के कारण पेंच उलझा हुआ है। इसकी सबसे बड़ी वजह यह भी है कि अध्‍यक्ष के रूप में नया चेहरा सामने आने के कारण अब पुराने नाम सभापति के रूप में अपनी नियुक्ति पार्टी से मांग रहे है। सूत्र बताते है कि एक पार्षद ने तो यहां तक कहा है कि यदि सभापति की कुर्सी नहीं मिलती है तो वे अपना समर्थन वापस ले सकते है। हालांकि इस पूरे मामले पर कोई भी खुलकर कुछ नहीं बोल रहा है।

पुराने पार्षदों को मिल सकता है मौका
पार्टी सूत्रों की माने तो पीआईसी में पुराने चेहरों को मौका मिल सकता है। इसकी वजह यह है कि इन्‍हें कामकाज का लंबा अनुभव है। इनमें विपिन राठौड़, शिव पटेल, जितेंद्र अग्रवाल, कालीचरण सोनवानिया, गेंदालाल बमनका के नाम सभापित के रूप में देखने को मिल सकते है।

जबकि नए चेहरों के रूप में रवि मेहता या विपुल चौपड़ा को पीआईसी में जगह मिल सकती है। इसके अलावा नौगांव से संजय मकवाना को भी सभापित के रूप में शामिल करने की चर्चा है। हालांकि अधिक्रत सूची आने के बाद ही तस्‍वीर साफ हो सकेगी।

बजट से पहले बनना है पीआईसी
अप्रैल में नगर पालिका द्वारा शहर का सालान बजट पेश किया जाएगा। इसके लिए वित्‍तीय वर्ष समाप्‍त होने के बाद तैयारियां शुरू हो जाएगी। बजट को स्‍वीक्रत कराने के लिए पीआईसी सदस्‍यों के समक्ष रखा जाएगा। इसलिए बजट से पहले प्रेसिडेंट इन काउंसिल यानी पीआईसी गठन की कवायद तेज करना होगी। संभवत: इसी सप्‍ताह पीआईसी गठन देखने को मिल सकता है

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