Covid Vaccine: कोरोना वायरस की वजह से जहां दुनियाभर में लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा और आर्थिक हालत भी बद से बदतर हो गए, वहीं कोरोना काल वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों के लिए वरदान साबित हुआ है। कोरोना का टीका बनाने वाली कंपनियां इस दौरान मालामाल हो गई है।
फाइजर-बायोएनटेक को हुआ अरबों का मुनाफा
दुनियाभर की ज्यादातर कंपनियों की कोरोना की वजह से आर्थिक सेहत काफी बिगड़ गई है और उनको आर्थिक तंगी के साथ कई दुश्वारियों का सामना करना पड़ा है, लेकिन दवा कंपनियों की इस दौरान बल्ले-बल्ले हुई है । इन कंपनियों पर धन की जैसे बरसात हुई है। कोरोना का टीका बनाकर सबसे ज्यादा मुनाफा कमाने वाली कंपनियों की लिस्ट में अमेरिकी कंपनी फाइजर और मॉडर्ना सबसे आगे हैं। फाइजर-बायोएनटेक को पिछले साल 9.6 अरब डॉलर का लाभ हुआ। साल 2021 में इसके बढ़कर 15 अरब डॉलर रहने का अनुमान है। इसके साथ ही साल 2022 में 8.6 अरब डॉलर और वर्ष 2023 में 1.95 अरब डॉलर कमाने का अनुमान है।
एस्ट्राजेनेका का टीका है साढ़े चार से 10 अमेरिकी डॉलर
मॉडर्ना की 2021 में टीके से कमाई 19 अरब डॉलर के बराबर रहने की उम्मीद है और साल 2022 में 12.2 अरब डॉलर और साल 2023 में बढ़कर 11.4 अरब डॉलर होने के अनुमान है। ब्रिटिश कंपनी एस्ट्राजेनेका और जॉनसन एंड जॉनसन ने महामारी के खात्मे तक कोई मुनाफा ना कमाने की नीति बनाई है। इसके बावजूद ये दोनों कंपनियां काफी फायदे में हैं। एस्ट्राजेनेका के दो खुराक की कीमत साढ़े चार से 10 अमेरिकी डॉलर है। जॉनसन एंड जानसन अमेरिका में 10 डॉलर प्रति टीका की कीमत लेगा। नोवावैक्स ने कहा है कि उसके टीके की दोनों खुराक की कीमत अफ्रीकी देशों में तीन अमेरिकी डॉलर रहेगी।
सिनोवैक है सबसे महंगा
फिलहाल चीनी कंपनी सिनोवैक का टीका सबसे महंगा है और चीन में इसके एक वैक्सीन की कीमत करीब 60 अमेरिकी डॉलर है। फाइजर ने टीके की दोनों खुराक के लिए अमेरिका में 39 डॉलर और यूरोपीयन यूनियन में 30 डॉलर तय किए है। मॉडर्ना टीके की दोनों खुराक के लिए अमेरिका में 30 अमेरिकी डॉलर और ईयू में 36 अमेरिकी डॉलर ले रही है।