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Janmashtami 2021: शुभ फलदायी है श्रीकृष्ण की मनपसंद वस्तुएं , जानिए इनका महत्व

Janmashtami 2021: भगवान श्रीकृष्ण मानव जीवन के हर पहलू से संबंधित है। इसलिए सनातन संस्कृति को मानने वाले हर घर में इनकी उपासना की जाती है। श्री द्वारकाधीश से संबंधित प्रतीक चिन्हों का विशेष महत्व है और इनको घर में रखना काफी शुभ माना जाता है। आइए जानते हैं भगवान श्रीकृष्ण के प्रतीक और उनके शुभ प्रभावों के बारे में।

बांसुरी

श्रीकृष्ण को बांसुरी बहुत ही प्रिय है। इसके स्वर बहुत सुरीले होते हैं। इसका अर्थ हमारे जीवन में यह होता है कि जीवन बांसुरी की तरह सुरीला और मधुर होना चाहिए। मतलब हर हालत में हमें खुश रहना चाहिए और स्वयं प्रसन्न रहकर दूसरों को प्रसन्न रखना चाहिए।

गाय

गाय को सनातन संस्कृति में सबसे पवित्र जीव माना गया है। पंचगव्य यानी गौ दुग्ध, गौ मूत्र, गौ दही, गौ घी और गौ गोबर का धर्मशास्त्रों में आरोग्य के लिए बड़ा महत्व बतलाया गया है। गाय का मानव जीवन में बड़ा महत्व है और गौसेवा से कष्टों का नाश होकर समृद्धि मिलती है।

मोरपंख

मोरपंख श्रीकृष्ण की प्रिय वस्तुओं में से एक हैं। घर में मोरपंख रखने का बड़ा महत्व है। केशव मोरपंख को अपने मुकुट में धारण करते हैं। मोरपंख कष्टों को कम कर सुख-शांति और समृद्धि प्रदान करता है।

कमल

कमल के फूल को शास्त्रों में बहुत पवित्र माना गया है। कीचड़ में खिलने के बावजूद उसमें सुंदरता, कोमलता और पवित्रता झलकती रहती है इसलिए कमल जीवन में विपरीत परिस्थितियों और विषमताओं में जीने की सीख देता है।

मिश्री और माखन

माखन और मिश्री भगवान बालमुकुंदजी को अतिप्रिय है। माखन और मिश्री को जब एकदूसरे में मिलाया जाता है तो दोनों एक मिलकर स्निग्ध और मधुर स्वाद बनाते हैं। मानव जीवन भी माखन – मिश्री की तरह घुल-मिलकर जीवन में मिठास घोलने वाला होना चाहिए।

वैजयंती माला

श्रीकृष्ण अपने गले में वैजयंती माला धारण करते हैं। यह माला कमल के बीजों को पिरोकर बनाई जाती है। कमल के बीज काफी सख्त होते हैं। वैजयंती माला से यह संदेश मिलता है कि जीवन भले ही कठिनाइयों से गिरा हो, लेकिन समझदारी से लिए गए निर्णय सख्त राहों को आसान बना देते हैं।

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